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Overviewप्रेमयोग स्वामी विवेकानंद द्वारा रचित एक अद्वितीय ग्रंथ है, जो प्रेम की दिव्य और आध्यात्मिक शक्ति को उजागर करता है। यह पुस्तक वेदांत दर्शन पर आधारित है और यह समझाने का प्रयास करती है कि प्रेम मात्र एक मानवीय भावना नहीं है, बल्कि यह स्वयं ईश्वर का स्वरूप है। स्वामी विवेकानंद ने इसमें यह दर्शाया है कि निःस्वार्थ प्रेम, जो आसक्ति और अहंकार से मुक्त हो, आत्मा को परमात्मा से एकाकार करने का मार्ग है।इस पुस्तक में सांसारिक और दिव्य प्रेम के बीच का अंतर स्पष्ट किया गया है। स्वामी विवेकानंद का मानना है कि दिव्य प्रेम सभी बंधनों और सीमाओं से परे है और यह मनुष्य को सच्ची स्वतंत्रता और शांति प्रदान करता है। उन्होंने प्रेम को एक आध्यात्मिक साधना के रूप में अपनाने की प्रेरणा दी है और करुणा, विनम्रता और निःस्वार्थता जैसे गुणों को विकसित करने पर बल दिया है।प्रेमयोग न केवल व्यक्तिगत आध्यात्मिक विकास का मार्गदर्शन करता है, बल्कि यह सार्वभौमिक भाईचारे और मानवता के कल्याण की प्रेरणा भी देता है। यह पुस्तक उन साधकों के लिए अमूल्य है जो प्रेम के माध्यम से ईश्वर से जुड़ने की आकांक्षा रखते हैं। स्वामी विवेकानंद के विचार इस पुस्तक को कालजयी और प्रेरणादायक बनाते हैं। Full Product DetailsAuthor: VivekanandPublisher: Unknown Imprint: Unknown Dimensions: Width: 14.00cm , Height: 0.60cm , Length: 21.60cm Weight: 0.122kg ISBN: 9789361912498ISBN 10: 9361912496 Pages: 98 Publication Date: 01 January 2024 Recommended Age: From 0 to 12 years Format: Paperback Publisher's Status: Active Availability: Available To Order ![]() We have confirmation that this item is in stock with the supplier. It will be ordered in for you and dispatched immediately. Language: Hindi Table of ContentsReviewsAuthor InformationTab Content 6Author Website:Countries AvailableAll regions |